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बालों का झड़ना बीमारी या आम समस्या ? कैसे लगे रोक : एक पड़ताल

बालों का झड़ना आम समस्या है, जो लगभग सभी के साथ अलग-अलग समय पर हो सकती है। कंघी करते हुए  कंघे या हाथों में बालों का आना  या नहाते समय बाथरूम में बहुत सारे बाल नज़र आना, कई बार हमें चिंता में डाल  देता है। ये झड़ते बाल अगर थोड़ी संख्या में  रहे तब तक तो ठीक है लेकिन जब ये ज्यादा मात्र में गिरने लगे तो तरह तरह की आशंकाएं मन को घेरने लगती हैं, जैसे कहीं मैं गंजा तो नहीं हो रहा /रही  या कहीं मेरे सारे बाल तो नहीं झड़ जाएंगे ? मैं किसी बीमारी का शिकार तो नहीं हूँ ?

कभी-कभी बालों के झड़ने से परेशान व्यक्ति शारीरिक बिमारी का शिकार तो रहते ही हैं, साथ ही साथ टेंशन ले-लेकर वो मानसिक बिमारियों का भी शिकार होने लगते हैं, लोगों के अच्छे बाल देखकर हीनता से ग्रसित होने लगते हैं।

आइये, आज इसी समस्या की एक पड़ताल करते हैं कि आखिर बाल क्यों गिरते हैं ? क्या बालों के गिरने का सम्बन्ध किसी शारीरिक या मानसिक समस्या से हो सकता है और बालों को ज्यादा झड़ने से रोकने के लिए क्या-क्या उपाय किए जा सकते हैं।

आखिर क्यों झड़ते हैं बाल ? :

ये प्रश्न सभी के मन में आता है कि आखिर अचानक से बाल ज्यादा क्यों झड़ने लगते हैं, देखिए, आम तौर पर बालों का झड़ना कोई समस्या नहीं है, क्योंकि ये शारीरिक प्रक्रिया है कि पुराने बाल झड़ते हैं तो नए बाल आते हैं, तो सामान्य मात्रा में बालों का झड़ना कोई परेशानी वाली बात नहीं पर जब बाल इतने झड़ने लगे की पूरे घर में जगह जगह बाल मिलें, या, बालों के गुच्छे टूटकर हाथों में आने लगे तो इस समस्या को समझने और इसके पीछे के कारण को जानने की ज़रूरत बढ़ जाती है ।

बालों के झड़ने की समस्या को चिकित्सकीय भाषा में एलोपेसिया (Alopecia) कहा जाता है, इस बीमारी में बाल अचानक सामान्य से अधिक मात्र में झड़ने लगते हैं, ये आवश्यक नहीं है की बालों के झड़ने की हर समस्या एलोपेसिया ही हो पर थोड़ा-सा ध्यान देकर हम पता लगा सकते हैं कि किसी के बाल एलोपेसिया की वजह से झड़ रहे हैं या कोई और कारण हो सकता है।

एलोपेसिया अलग-अलग प्रकार  का होता है और  एक ही व्यक्ति में सभी लक्षण नहीं पाए  जाते हैं।

एलोपिया  के कई लक्षण हो सकते हैं जिनमें से कुछ मुख्य लक्षण हैं :

  • बालों के गिरने पर सिर में गोल-गोल पेच बनना।
  • सिर के किसी हिस्से से बाल गिरना, किसी से न गिरना।
  • सुबह उठने पर तकिये पर बालों का बड़ी मात्र में मिलना।
  • सिर के सभी बाल गिर जाना।
  • शरीर के बाकि हिस्सों से भी बालों का झड़ना।

बालों के झड़ने के पीछे मुख्यत: दो तरह के कारण होते हैं :

१. मानसिक परेशानियां :

सोचने में बहुत अजीब लग सकता है कि मानसिक परेशानियों का बालों के गिरने से क्या सम्बन्ध हो सकता है, पर ये सच है कि लम्बे समय तक होने वाला मेंटल स्ट्रेस (मानसिक तनाव), जहाँ एक तरफ स्वभाव में चिढ़चिढापन, और अवसाद और अनिंद्रा को बढ़ाता है, वहीँ दूसरी तरफ इसका असर बालों की बढ़त पर भी पड़ता है और लम्बे समय तक रहने वाला स्ट्रेस बालों के झड़ने का कारण भी बन सकता है।

अगर आपको लगता है कि आपके जीवन में बहुत स्ट्रेस है और उसका असर आपके शरीर और मन दोनों पर बढ़ने लगा है तो, बेहतर है कि अपनी जीवन शैली में परिवर्तन करके स्ट्रेस को कम करने की कोशिश करिए और इसके बाद मानसिक परेशानियाँ अधिक है तो एक बार डॉक्टर से अवश्य संपर्क करें।

२. शारीरिक समस्याएं :

आपने कई बार लोगों को कहते सुना होगा कि उम्र के साथ बालों का झड़ना कोई बड़ी बात नहीं, पर आपने ये भी देखा होगा कि कुछ लोगों के बाल कम उम्र में ही गिरने लगते हैं और कुछ के बाल उम्र बढ़ने के बाद घने और स्वस्थ रहते हैं। बालों के असमय गिरने या सफ़ेद होने के पीछे कई शरीर और पोषण सम्बन्धी समस्याएं हो सकती हैं। आइये इन पर एक नज़र डालते हैं  :

  • अनुवांशिक कारण : अगर किसी व्यक्ति के परिवार में अनुवांशिक रूप से गंजेपन समस्या रही है या छोटी उम्र में बाल कम हो जाने या पतले होने की समस्या रही है तो अगली पीढ़ी में इस समस्या के आने की सम्भावना बहुत अधिक होती है। ये अनुवांशिक असर माता या पिता दोनों में से किसी भी तरफ के परिवार से अगली पीढ़ी में आ सकता है।
  • महिलाओं में प्रेगनेंसी के समय या उसके बाद समस्या : महिलों को प्रेगनेंसी के दौरान या बच्चों के जन्म के बाद कई बार इस समस्या का सामना करना पड़ता है, कई बार जब तक बच्चा माँ का दूध पीता (ब्रेस्टफीड) है तब तक माओं के बाल बहुत झड़ते हैं, और कभी-कभी ये समस्या स्थाई भी हो जाती है।
  • कुछ बिमारियों का असर : कैंसर, डाईबिटीज़, आर्थराइटिस, ब्लड प्रेशर जैसी बिमारियों में मरीज़ को लम्बे समय तक दवाइयों का सेवन करना पड़ता है और इन दवाइयों के साइड इफ़ेक्ट के कारण भी कई बार बाल झड़ने लगते हैं या गंजापन आ जाता है।
  • स्वप्रतिरक्षित बिमारियों (ऑटो इम्यून ) का प्रभाव  : कई बार लोगों को ऐसी बीमारियाँ हो जाती हैं जिनमें शरीर की रोग प्रतिरक्षा की शक्ति कम हो जाती है या शरीर कुछ विशेष चीज़ों के कारण एलर्जी के लक्षण दिखाने लगता है, इन बिमारियों के कारण शरीर पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है और बाल झड़ने की सम्भावना बढ़ जाती है।
  • शरीर में पोषक तत्वों या विटामिन की कमी : नेशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इन्फोर्मेशन की वेबसाईट पर प्रकाशित एक शोध के अनुसार शरीर में कुछ विटामिन की कमी से बालों का झड़ना बढ़ सकता है। इस शोध के अनुसार राइबोफ्लेविन, बायोटिन, फोलेट और विटामिन बी १२ की कमी से भी बाल झड़ सकते हैं। इसी के साथ विटामिन सी और विटामिन ई की कमी से भी बाल झड़ सकते हैं। शरीर में जब इन विटामिन्स की कमी होती है तो शरीर को सम्पूर्ण पोषण नहीं मिलता जिसके कारण बालों का पतला होना, असमय सफ़ेद होना, या बालों का झड़ना जैसी समस्याएं बढ़ सकती हैं।
  • हेयर प्रोडक्ट्स का नकारात्मक प्रभाव : बाज़ार में हर दिन नए आने वाले हेयर प्रोडक्ट्स में से कुछ में बड़ी मात्रा में केमिकल होते हैं, वैसे देखा जाए तो नेचुरल कहे जाने वाले प्रोडक्ट्स में भी कुछ केमिकल तो होते ही हैं, पर केमिकल की अधिक मात्रा कभी-कभी बालों की ग्रोथ के लिए नुकसानदायक होती है या बालों के झड़ने का कारण भी बन सकती है। विभिन्न तरह के हेयर ट्रीटमेंट भी कई बार रिएक्शन कर देते हैं जिसके कारण बालों को फायदा होने की जगह नुक्सान होने लगता है।
  • अनियमित दिनचर्या  : उचित खान-पान की कमी, नींद पूरी न होना जैसे भी कुछ कारण हैं, जो बालों के स्वास्थ्य पर प्रभाव डालते हैं , कम पानी पीने से भोजन का सही पाचन नहीं होता जिसके कारण शरीर को सभी पोषक तत्त्व नहीं मिल पाते।
  • बालों की उचित देखभाल न होना : बालों को बहुत कसकर बांधना, रात में सोते वक़्त बालों को सही ढंग से न रखना, गीले बालों में सोना जैसे कई छोटे-छोटे कारणों से भी बाल झड़ सकते हैं।

बालों की समस्या का सटीक इलाज :

बालों की समस्या अत्यधिक बढ़ने पर सबसे बेहतर यही है कि डॉक्टर के पास जाया जाए, वो कुछ टेस्ट करके ये पता लगा सकते हैं कि एलोपिया की वजह से बाल तो नहीं झड़ रहे। अगर ऐसा कुछ हो तो उचित समय पर दवाई देकर बालों को बड़ी मात्रा में झड़ने से रोका जा सकता है। सामान्य तौर पर देखा जाए तो बालों का झड़ना रोकने का कोई सटीक इलाज नहीं है जो हर व्यक्ति को दिया जा सके, क्योंकि प्रत्येक व्यक्ति के बालों के झड़ने का कारण अलग होता है तो उसका इलाज भी अलग होता है। हालाँकि, एलोपिया के लिए कुछ ओवर द काउंटर मेडिसिन भी होती हैं जिन्हें किसी भी मेडिकल स्टोर से खरीदा जा सकता है पर बेहतर यही है कि दवाइयां डॉक्टर की सलाह और अपने शरीर की ज़रूरत के हिसाब से ही ली जाए।

इसी के साथ जरूरत के हिसाब से डॉक्टर आपको अलग-अलग इलाज सुझा सकते हैं। जिनमें से प्रमुख हैं :

  • स्टेम सेल थेरेपी
  • लेज़र हेयर ट्रीटमेंट 
  • इंटेंसिव हेयर रूट ट्रीटमेंट
  • हेयर ट्रांसप्लांट 

इन सभी तकनीकों को व्यक्ति विशेष की समस्या के हिसाब से प्रयोग में लाया जाता है।

इसी के साथ इस बात का विशेष ध्यान रखिए कि एलोपेथी ही एकमात्र उपाय नहीं है, होम्योपेथी, नेचुरोपैथी, आयुर्वेद में भी झड़ते बालों को रोकने की कई दवाइयां है और लोग इन उपचारों से भी लाभ उठा रहे हैं इसीलिए अपनी पूरी रिसर्च करिए और अपने झड़ते बालों के इनमें से किसी पद्धति का सहारा लीजिए, क्योंकि इन दवाइयों के सामान्यत: साइड इफेक्ट नहीं होते, तो किसी अच्छे जानकार से सलाह लेकर आप इन चिकित्सा पद्धतियों की तरफ भी कदम बढ़ा सकते हैं।

बालों को स्वस्थ बनाने के लिए कुछ किया जा सकता है ?

ये प्रश्न हमेशा दिमाग में आता है कि बालों का झड़ना शुरू होने के बाद के लिए कई उपाय हैं पर क्या ऐसे कोई तरीके हैं जिससे बालों को स्वस्थ बनाया जा सके या इस समस्या से बचाव किया जा सके? इसका प्रश्न का उत्तर है – हाँ, ऐसा किया जा सकता है। अगर आप बालों की उचित देखभाल करें तो बालों को स्वस्थ और मजबूत बनाया जा सकता है। इसके लिए हमें कुछ विशेष बातों का ध्यान रखना होगा –

१  अपने खान-पान में फल-सब्जियों और प्रोटीन का समावेश करिए, तले-भुने मसालेदार भोजन को रोजमर्रा के भोजन का हिस्सा मत बनाइये। बालों की अच्छी ग्रोथ के लिए विटामिन ए, बी, सी, डी और जिंक का महत्वपूर्ण योगदान है। कोशिश कीजिए कि आप अपने भोजन के माध्यम से इनकी पूर्ति कर सकें।

२ बालों के लिए उचित तेल पहचानिए। अगर आपने कहीं पढ़ा है कि बालों में सरसों का तेल लगाएं, या अरंडी का तेल लगाएं तो कोई भी नया प्रयोग करने से पहले ये समझिये कि वो तेल आपके बालों के लिए उचित है या नहीं। कभी-कभी नारियल तेल भी कुछ बालों के लिए या स्कल्प के लिए सही नहीं होता, इसलिए जो तेल आपके बालों को सूट करे उसी का प्रयोग करिये।

३ जहाँ तक हो सके बालों पर केमिकल युक्त उत्पादों का प्रयोग कम से कम करिए। हर्बल शैम्पू , कंडिशनर या अन्य उत्पादों का प्रयोग करें।

४  बालों में तेल-मालिश को अपने रूटीन का हिस्सा बनाइये, पर बालों में तेल लगाने का सही तरीका ही अपनाएं।

५  बालों को धूल और प्रदूषण से बचाने का प्रयास करिए।

६  बालों के लिए तेज़ धूप हानिकारक है पर स्वस्थ बालों के लिए विटामिन डी बहुत ज़रूरी है तो बालों को बचाते हुए सूरज की धूप लीजिए, हो सके तो हल्की धूप में बाहर जाइये या आप किसी ऐसे क्षेत्र में रहते हैं जहाँ धूप नहीं आती या बहुत कम आती है तो विटामिन डी के सप्लीमेंट ज़रूरत के अनुसार लीजिए।

७ उम्र के हिसाब से विटामिन डेफिशियेंसी का चेक-अप करवाते रहिए, ताकि समय रहते आपको विटामिन की कमी का पता चल जाए और आप सतर्क हो सकें।

८ बालों को रूसी से बचाने का पूरा प्रयास कीजिए। अगर किसी करणवश रूसी हो भी जाए तो उससे जल्द से जल्द छुटकारा पाने का उपाय करिए।

९ बालों को बहुत ठन्डे या बहुत गर्म पानी से कभी मत धोइए। इसके कारण स्कल्प की समस्याएं बढ़ती हैं।

बालों के लिए लाभदायक घरेलू चीजें

बालों में तेल मालिश  : तेल-मालिश बालों के लिए वरदान की तरह है, अपने बालों के लिए सूट करने वाला कोई भी तेल लीजिए और सप्ताह में कम से कम बार तेल-मालिश को अपनी दिनचर्या का हिस्सा बनाइये।

आंवला : आंवला में विटामिन सी प्रचुर मात्रा में पाया जाता है, इसे खाना और पाउडर बनाकर बालों में प्रयोग करना दोनों ही बालों के लिए बहुत लाभकारी है। इसे आप अपने तेल में मिलकर भी बालों में प्रयोग कर सकते हैं।

शिकाकाई : शिकाकाई का प्रयोग बालों को धोने के लिए शैम्पू के रूप में किया जा सकता है, इसे पाउडर बनाकर थोड़ी देर भिगोया जाता है और जिस तरह शैम्पू प्रयोग में लिया जाता है, उसी तरह इसका प्रयोग बालों के लिए किया जाता है। आंवला, रीठा और शिकाकाई का मिश्रण भी बालों के लिए बहुत अच्छा माना जाता है।

प्याज  : प्याज के रस को बालों की ग्रोथ बढ़ाने के लिए बहुत लाभकारी माना जाता है, यहाँ तक कि प्याज़ के बीज (कलोंजी) भी बालों की देखभाल के लिए अच्छी मानी जाती है।

कॉफ़ी : आपको सुनने में अजीब लग सकता है पर कॉफ़ी में एंटी ओक्सिडेंट पाया जाता है जो बालों को स्वस्थ बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा करता है, पर ये लाभ कॉफ़ी पीने से नहीं मिलता कॉफ़ी को कुछ नुस्खों के साथ बालों में लगाने से मिलता है।

चावल : चावल को बालों की सुन्दरता के लिए प्रयोग करने का चलन कोरिया में बहुत है, चावल का पानी और माढ़ दोनों का ही प्रयोग वहां बालों की सुन्दरता के लिए किया जाता है।

मेथीदाना  : मेथी दाने के सही प्रयोग से बालों को झड़ने से रोकने का प्रयोग लम्बे समय से भारत में चला आ रहा है।

एलोवेरा जेल : एलोवेरा जेल में एमिनो एसिड, फेटी एसिड और विटामिन ए, बी१२ और विटामिन ई पाया जाता है जो बालों के लिए बहुत लाभदायक है।

अलसी (फ्लेक्स सीड ) : अलसी में ओमेगा ३ पाया जाता है और विटामिन बी भी बड़ी मात्रा में होता है जो बालों के लिए बहुत अच्छे माने जाते हैं। इसका प्रयोग आप तेल रूप में या अन्य प्रकार से बालों में कर सकते हैं।

बालों के लिए घरेलू नुस्खे और हेयरपैक

  1. बालों को धोने के लगभग १ घंटे पहले उनमें प्याज का रस लगाइए। आप जल्दी ही देखेंगे कि आपके बाल कम झड़ने लगे हैं। इसका प्रयोग आप सप्ताह में दो बार कर सकते हैं।
  2. एक कटोरी में रात में एक चम्मच मेथीदाना भिगोएं। सुबह इस मेथीदाने को अच्छी तरह पीसकर बालों में लगा लीजिये और १५ मिनिट बाद बाल धो लीजिए, अगर आपके बाल ड्राई हैं तो इस मिश्रण में थोड़ा दही भी मिलाकर बालों में लगाइए, जल्द ही आपके बाल मजबूत होने लगेंगे।
  3. एक कटोरी में मेथीदाना कलोंजी और करी पत्ता लीजिये (मेथीदाना १ चम्मच , कलोंजी १ चमच, करीपत्ता ५-६ पत्ती) इन्हें ३ से ४ घंटे पानी में गलैये या आप चाहे तो रात भर भी गला सकते हैं। सुबह इसमें एक कटोरी पानी और डालिए और इन्हें तब तक उबालिए जब तक पानी आधा न रह जाए, फिर इस मिश्रण को ठंडा करिए और बालों में लगाकर आधे घंटे के लिए रखिए, इसमें आप अलसी भी मिलाकर उबाल सकते हैं, लगभग आधे घंटे बाद (ये समय आप एक, दो प्रयोग के बाद कुछ कम या ज्यादा कर सकते हैं ) नार्मल शैम्पू से बाल धो लीजिए, बालों में चमक बढ़ेगी, बाल मजबूत होंगे और कलोंजी के कारण असमय सफ़ेद हो रहे बाल भी हल्के काले हो जाएंगे।
  4. एक कटोरी में एक चम्मच एलोवेरा जेल लीजिए। इसमें लगभग आधी चम्मच कॉफ़ी मिलाइए और एक चम्मच आपका सामान्य शैम्पू मिलाइए। इस मिश्रण को १० से १५ मिनिट बालों में रखिए। फिर बाल सामान्य पानी से धो लीजिए, हर बार बाल धोते समय आप ये नुस्खा प्रयोग कर सकते हैं। इससे बालों को पोषण मिलता है।
  5. एक चम्मच चावल को अच्छे से ३-४ पानी में धोकर कम से कम २ से ३ घंटे के लिए पानी में गला दीजिए, अब इस पानी को आप अपने शैपू में मिलकर प्रयोग कर सकते हैं या शैम्पू करने के बाद इस पानी को बालों में लगाइए और फिर सामान्य पानी मत डालिए, इससे बालों में अच्छी चमक आती है।
  6. गुडहल के फूलों को नारियल तेल के साथ गर्म करके बालों में लगाया जाता है या कुछ फूल लेकर उन्हें अच्छे से धोकर उनका पेस्ट बनाइये और इसमें नारियल तेल मिलाकर एक घंटे के लिए बालों में लगाइए। इससे बालों का अत्यधिक झड़ना कम होता है।
  7. रोज़मेरी आयल को बालों के झड़ने में एलोपेथी वाली दवाइयों का नेचुरल विकल्प माना जाता है। इसकी ४ से ५ बूंदे अपने सामान्य हेयर आयल में मिलाकर बालों की जड़ में लगाएं और लगभग एक घंटे बाद बाल धो लें। रोज़मेरी आयल असेंशियल आयल होता है इसलिए इसका प्रयोग करने से पहले इसका टेस्ट अवश्य करें ताकि आपको पता चल सके कि आपको इससे किसी प्रकार की एलर्जी तो नहीं हो रही।
  8. दिन में एक से दो बार ग्रीन टी पीना भी बालों और शरीर दोनों के लिए अच्छा माना जाता है।
  9. कोशिश कीजिए कि जब भी बालों में तेल लगाएं उसके पहले बालों को हल्का-सा पानी से नम कर लीजिए। सूखी स्कल्प पर तेल लगाना कभी-कभी रूसी को बढ़ाता है।
  10. भोजन में विटामिन ई का सेवन बढ़ाइये। साथ ही साथ आप विटामिन ई के केप्सूल भी अपने तेल में मिलाकर बालों में लगा सकते हैं।
  11. बायोटिन का बालों की बढ़त में बहुत महत्वपूर्ण योगदान है। अगर आपको लगता है कि आप अपने भोजन से शरीर में इसकी पूर्ति नहीं कर पा रहे तो बायोटीन का सप्लीमेंट लीजिए। बेहतर रिजल्ट के लिए आप लिक्विड बायोटिन का प्रयोग कर सकते हैं। (इस प्रयोग को अपने विवेक या डॉक्टर की सलाह से ही करें)

अभी आपने जाना कि बालों के झड़ने के क्या कारण हो सकते हैं और किसी तरह की मानसिक या बाल सम्बन्धी शारीरिक बीमारी न होने पर किस तरह के उपाय करके इनका झड़ना कम किया सकता है। समस्या अधिक होने पर या एलोपिया के लक्षण दिखाई देने पर डॉक्टरी सलाह लेकर आगे बढ़ना अच्छा विकल्प है।

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